इंग्लैंड की ऐतिहासिक जीत, पर टेस्ट मैच की स्थितियों पर सवाल
ट्रैविस हेड ने शनिवार को ब्रायडन कार्स की गेंद पर आउट होते हुए मुस्कुराया। यह विडंबना नहीं, बल्कि उस पिच पर बल्लेबाजी की कठिनाई को स्वीकार करना था। हेड उस समय तक खतरनाक फॉर्म में थे, लेकिन कार्स की वह गेंद लगभग खेलने लायक नहीं थी।
इसके नौ घंटे बाद, इंग्लैंड की टीम एमसीजी के मैदान में जीत का जश्न मनाते नजर आई। उन्होंने 15 साल बाद ऑस्ट्रेलिया में टेस्ट मैच जीता और सीरीज में व्हाइटवॉश से बच गए।
यह मैच महज छह सत्रों में समाप्त हो गया, जिसमें 36 विकेट गिरे। इंग्लैंड के लिए जोश टंग सबसे बड़ी उपलब्धि रहे, जिन्हें मैच का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी चुना गया। उन्होंने स्टीव स्मिथ जैसे बल्लेबाज को आउट करके अपनी काबिलियत साबित की।
175 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए युवा जैकब बेथेल इंग्लैंड के हीरो बनकर उभरे। अपने पहले एशेज टेस्ट में उन्होंने 46 गेंदों में 40 रन की परिपक्व पारी खेली, जिसमें कई शानदार चौके शामिल थे। उन्होंने मैदान का बुद्धिमानी से इस्तेमाल किया और इंग्लैंड को जीत तक पहुंचाया।
हालांकि, यह जीत पिच और मैच की स्थितियों के बिना नहीं देखी जा सकती। दोनों कप्तानों ने माना कि दो दिन में समाप्त होने वाला टेस्ट एशेज जैसे महत्वपूर्ण सीरीज के लिए उचित नहीं था। पिच ने खिलाड़ियों से ज्यादा सुर्खियां बटोरीं।
हेड की मुस्कान से लेकर इंग्लैंड के जश्न तक, यह दो दिन का टेस्ट क्रिकेट एमसीजी के इतिहास में हमेशा याद रखा जाएगा। इंग्लैंड के लिए यह ऐतिहासिक जीत थी, लेकिन टेस्ट क्रिकेट के मानकों के लिहाज से यह मैच विवादास्पद रहा।
